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HMPV वायरस का ख़तरा 8 राज्यों में मंडराया, अब तक मिले कुल 15 मामले

भारत, 11 जनवरी (ब्यूरो) : कोरोना वायरस जैसा ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस (HMPV) देश में तेजी से फैलता जा रहा है। शनिवार (11 जनवरी) तक देश में इसके 15 मामले सामने आ चुके हैं। शनिवार को असम में 10 महीने का बच्चा संक्रमित पाया गया। बच्चे का इलाज डिब्रूगढ़ के असम मेडिकल कॉलेज और अस्पताल (AMCH) में चल रहा है। डॉक्टरों ने बताया कि उसकी हालत स्थिर है। बता दें कि यह वायरस खासकर छोटे बच्चों और बुजुर्गों को ज्यादा प्रभावित करता है।

HMPV के सबसे ज्यादा मामले गुजरात में

देशभर में HMPV के सबसे ज्यादा 4 मामले गुजरात से सामने आए हैं। महाराष्ट्र में 3 और कर्नाटक व तमिलनाडु में 2-2 केस दर्ज हुए हैं। वहीं, यूपी, राजस्थान, असम और पश्चिम बंगाल में 1-1 मामला पाया गया है। पंजाब में बुजुर्गों और बच्चों को मास्क पहनने की सलाह दी गई है। गुजरात में आइसोलेशन वार्ड बनाए जा रहे हैं, जबकि हरियाणा में स्वास्थ्य विभाग को सतर्क कर दिया गया है।

किन राज्यों में HMPV के कितने मामले :

राज्य का नाम         HMPV के मामले
  • गुजरात                   4
  • महाराष्ट्र                   3
  • कर्नाटक                  2
  • तमिलनाडु               2
  • उत्तर प्रदेश               1
  • राजस्थान                1
  • पश्चिम बंगाल           1
  • असम                     1

विशेषज्ञों ने दी राहत की खबर

AIIMS के पूर्व निदेशक डॉ. रणदीप गुलेरिया ने बताया कि HMPV कोई नया वायरस नहीं है। यह आमतौर पर अपने आप ठीक हो जाता है। उन्होंने कहा कि इस वायरस का इलाज एंटीबायोटिक्स से नहीं किया जा सकता। टेक्सास के कोविड Rx एक्सचेंज के फाउंडर डॉ. शशांक हेडा का कहना है कि यह वायरस मौसम के बदलाव के साथ आता है और जल्द ही मामलों में कमी आ जाएगी।

HMPV और कोरोना में बड़ा फर्क

HMPV और कोरोना वायरस अलग-अलग फैमिली के वायरस हैं। हालांकि, इनके लक्षण जैसे खांसी, बुखार, और सांस की समस्या मिलते-जुलते हैं। WHO ने HMPV को लेकर कोई विशेष चेतावनी जारी नहीं की है। केंद्र सरकार ने कहा है कि यह वायरस फ्लू जैसी स्थिति पैदा करता है और इससे निपटने के लिए हमारी स्वास्थ्य सेवाएं पूरी तरह सक्षम हैं।

केंद्र सरकार ने बढ़ाई सतर्कता

ICMR ने HMPV की निगरानी के लिए लैब्स की संख्या बढ़ाने का फैसला किया है। राज्यों को फ्लू और सांस से जुड़ी बीमारियों पर विशेष नजर रखने के निर्देश दिए गए हैं। स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि देश में ILI और SARI के लिए मजबूत निगरानी प्रणाली पहले से मौजूद है। आंकड़ों के मुताबिक, इन मामलों में कोई असामान्य बढ़ोतरी नहीं हुई है।

HMPV से बचाव के लिए क्या करें?

डॉक्टरों ने सुझाव दिया है कि भीड़भाड़ वाली जगहों पर जाने से बचें और मास्क का इस्तेमाल करें। HMPV खांसने-छींकने और संक्रमित सतहों के संपर्क से फैलता है। बच्चों और कमजोर इम्यूनिटी वाले लोगों को विशेष सावधानी बरतनी चाहिए। सरकार ने कहा है कि यह वायरस गंभीर खतरा नहीं है और स्वास्थ्य सेवाएं पूरी तरह तैयार हैं।

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